Saturday, February 2, 2013

'इंडिया आर्ट फेयर' के अनोखे अंदाज़-Part-2

यादें...
फटे कोटों से कलाकार बहुत कुछ कहना चाहता है। यादें...छोटी-बड़ी। भूली बिसरी।

दर्द या मुस्कुराहट
कलाकार- वेद नायर। कीलों से बिंधे हुए दो सर..दर्द या मुस्कुराहट।
 
कला कम प्रदर्शन 
रियलिटी और सुपररियलिटी, कला कम कला प्रदर्शन अधिक। लोरेंजो की इस कलाकृति में दो शीशे के बक्से हैं, जिसमें से एक को उन्होंने तोड़ दिया। जो न टूटा वो रियलिटी जो टूट गया वो स्पिरिचुयलिटी।

किचन के बर्तन
सुबोध गुप्ता अपने किचन के बर्तनों के साथ। किचन के बर्तन उनका ट्रेडमार्क स्टाइल है कला को उतारने का।

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